Home News Business

गुजरात से लीक हुआ था पेपर, जबराराम ने कंवराराम को पालनपुर व हरीश को अहमदाबाद में दिया हल किया पेपर

Banswara
गुजरात से लीक हुआ था पेपर, जबराराम ने कंवराराम को पालनपुर व हरीश को अहमदाबाद में दिया हल किया पेपर
@HelloBanswara - Banswara -

राजस्थान में 13 नवंबर 2022 को हुई वनरक्षक भर्ती परीक्षा-2020 का पेपर गुजरात के पालनपुर और अहमदाबाद से लीक हुआ था। राजस्थान में यह पहला ऐसा मौका जब आरोपियों को दूसरे राज्य से पेपर मिला था। किसी को कोई संदेह नहीं हो इसलिए पेपर लीक गिरोह के मुख्य सरगना जबराराम जाट (बाड़मेर का सरकारी शिक्षक) ने अपने साथी कंवराराम जाट (बाड़मेर का शराब तस्कर) को गुजरात के पालनपुर की होटल गीतांजलि में और हरीश सारण (उदयपुर में सरकारी शिक्षक बाड़मेर निवासी) को अहदाबाद बुलाकर दो मोबाइल दिए थे।

दोनों मोबाइल में हल किए हुए पेपर थे। पालनपुर से कंवराराम ने उदयपुर पहुंचकर अपने दोस्त सांवलाराम जाट के किराए के मकान में और अहमदाबाद से हरीश ने बांसवाड़ा पहुंचकर दो मकानों में अभ्यर्थियों को परीक्षा से पहले हल किए प्रश्न पढ़वाए थे। कंवराराम ने ही उसी दिन हल किए पेपर राजसमंद भी पहुंचाए थे। इसी गैंग की एक टीम ने जोधपुर में अभ्यर्थियों को पेपर पढ़वाए थे।

परीक्षा के दिन बांसवाड़ा व उदयपुर में दो-दो जगह और राजसमंद व जोधपुर में एक-एक जगह अभ्यर्थियों को पेपर पढ़वाए थे। इनमें कई जगह जालौर, बाड़मेर और बालोतरा के अभ्यर्थी भी थे। जबराराम ने इस काम की एवज में कंवराराम को 2.50 लाख रुपए दिए थे। ये खुलासे राजस्थान पुलिस के स्पेशनल ओपरेशन ग्रुप (एसओजी) की ओर से पिछले सप्ताह बांसवाड़ा कोर्ट में पेश चार्जशीट से हुए हैं।

हालांकि 31 आरोपियों की गिरफ्तारी के बावजूद एसओजी यह पता नहीं लगा पाई कि गुजरात में जबराराम जाट को पेपर किसने दिया? एसओजी इसी एंगल पर जांच कर रही है। परीक्षा के दिन हरीश सारण बांसवाड़ा में जब अभ्यर्थियों को पेपर पढ़वा रहा था तो उसके पास दूसरा मोबाइल था। खुद का मोबाइल वह जयपुर छोड़कर आया, जिसे कोई दूसरा ऑपरेट कर रहा था ताकि उस दिन की लोकेशन जयपुर में ही मिले। मुख्य आरोपी जबराराम जाट अभी तक एसओजी के हाथ नहीं लगा है।

बांसवाड़ा से 28 लाख रुपए एजेंटों ने हवाले से हरीश को जयपुर भेजे

बांसवाड़ा में दोनों पारियों के पेपर परीक्षा से पहले अभ्यर्थियों को पढ़वाने की एवज में एजेंट बांसवाड़ा निवासी सकनसिंह खड़िया और छगन पारगी ने अलग-अलग अभ्यर्थियों से वसूले गए 28 लाख रुपए हवाला के जरिये मास्टरमाइंड हरीश को जयपुर भेजे थे। 31 आरोपियों में बांसवाड़ा से 14, डूंगरपुर से 1, प्रतापगढ़ से 2, बाड़मेर से 7, जालौर से 4, उदयपुर से 1, बालोतरा से 2, आरोपी शामिल है।

अभियुक्त सांवलाराम ने कैंडिडेट रेशमी कुमारी को पेपर राजसमंद के एक होटल में बाहर पढ़वाया था। इसकी एवज में रेशमी के पिता से 5 लाख रुपए नकद लेकर सांवरलाराम को दिए थे। इस परीक्षा का पहला केस बांसवाड़ा में दर्ज हुआ था।

गिरोह में 4 कांस्टेबल, 3 शिक्षक और 3 वन रक्षक

हरीश और जबराराम जाट एक-दूसरे के परिचित हैं। आरोपी रमेश कुमार जाणी हरीश का भांजा है। रमेश कंवराराम का ड्राइवर है। पेपर लीक में प्रकरण दर्ज होने के बाद हरीश अपना मोबाइल उदयपुर में सांवलाराम की दुकान पर छोड़ गया था। एसओजी ने वह मोबाइल जोधपुर में रमेश के मित्र के मकान से बरामद किया था। सांवलाराम कंवराराम का रिश्तेदार है।

आरोपी कांस्टेबल देवाराम और सांवलाराम के बीच अच्छी दोस्ती थी। कांस्टेबल देवाराम का दोस्त कांस्टेबल कमलेश था। सांवलराम ने दोनों कांस्टेबलों को लालच देकर पेपर लीक में अभ्यर्थी लाने के लिए अपने साथ मिलाया। इस पर कांस्टेबल देवाराम अपनी भतीजी रेशमी कुमारी को और कमलेश अभ्यर्थी पुष्पा डूडी को लाया। प्रकरण में कांस्टेबल धन्नाराम भी आरोपी है।

धन्नाराम आरोपी अभ्यर्थी सीमा कुमारी का 3 साल से किराएदार था। धन्नाराम के पास जानकारी थी कि चनानाराम पटवारी के पास पेपर है। आरोपी अभ्यर्थी टीमो का पति लिखमाराम कांस्टेबल है जिसके दोस्त कांस्टेबल भंगराज ने टीमो के लिए पेपर उपलब्ध कराने के लिए रमेश से संपर्क कराया था। रमेश ने परिचित स्टेशन मास्टर कंवराराम से और कंवराराम ने नरेश देव से संपर्क किया कराया था और नरेश देव ने चनानाराम पटवारी से। आरोपी कंवराराम चौधरी नरेश का दोस्त था। गिरोह में 4 पुलिस कांस्टेबल, 3-3 सरकारी शिक्षक और वन रक्षक भी हैं। पेपर पढ़ने वाले कई अभ्य​र्थियों का चयन भी हो गया था।

बांसवाड़ा, उदयपुर, राजसमंद और जोधपुर में एक साथ अभ्यर्थियों को पेपर पढ़वाया

{ बांसवाड़ा: हरीश परीक्षा के दिन दोनों ही पारियों का पेपर पढ़ाने डूंगरपुर के जेईएन अभिमन्यू सिंह के साथ बांसवाड़ा आया। पहली पारी का पेपर बांसवाड़ा के अंहिसापुरी कॉलोनी स्थित एजेंट छगन पारगी के किराए के मकान में और दूसरी पारी का पेपर प्रवीण मालवीया के हाउसिंग बोर्ड स्थित साले के मकान में अभ्यर्थियों को पढ़वाता है। हर अभियर्थी से 8-8 लाख में सौदा होता है।

{पेपर लीक के 7 मुख्य आरोपी बाड़मेर के : गिरफ्तार 31 आरोपियों में से मास्टरमाइंड शिक्षक जबराराम जाट, हरीश उर्फ हीरराम सारण, सांवलाराम जाट, कंवराराम जाट, कांस्टेबल भीयाराम, कांस्टेबल लिखमाराम बाड़मेर से है। पानलपुर गुजरात में स्टेशन मास्टर कंवराराम चौधरी बालोतरा से, रमेश कुमार जाणी जालौर और कांस्टेबल कमलेश जालौर का रहने वाला है। इनके अलावा गोविंद तेतरवाल जाट, पटवारी चनानाराम मेघवाल, प्रमोद कुमार, उमाराम, प्यारी जाट, आेमप्रकाश जाट, कांस्टेबल धन्नाराम, कांस्टेबल बांकाराम, जालौर से पुष्पा डूडी, ओकाराम सुथार, बालोतरा रमेश सुथार व बाड़मेर का नरेश देव दर्फ एनडी सारण सहित अन्य भी नामजद हैं।

{राजसमंद: सांवलाराम कांस्टेबल कमलेश की कैंडिडेट पुष्पा डूडी व कांस्टेबल देवाराम के कैंडिडेट ओकाराम सुधार को उदयपुर से राजसमंद परीक्षा केंद्र पर कांस्टेबल कमलेश की कार में छोड़ने जाते समय रास्ते में पेपर पढ़वाता है। यहां पर करनी पैलेस होटल में रेशमी कुमारी को पहली पारी का पेपर पढ़वाया।

{ जोधपुर : गैंग के कुछ सदस्यों की ओर से अभ्यर्थियों को पेपर पढ़वाने के इनपुट मिले हैं। एसओजी जल्द गिरफ्तारी करने वाली है।

{ उदयपुर: उदयपुर के टेकरी गागरियावास में आरोपी कंवराराम जाट सांवलाराम जाट के किराए के मकान में कई अभ्यर्थियों को परीक्षा से पहले पेपर पढ़वाता है। यहां कंवराराम जाट मोबाइल में पेपर लेकर आता है और प्रिंटर से उसकी कॉपियां निकालता है। कंवराराम जबराराम की ओर से दिया गया मोबाइल सांवलाराम की दुकान पर ही छोड़ जाता है।

FunFestival2024
शेयर करे

More news

Search
×