ऑनलाइन ठगी के पैसे वापस दिलाने में पुलिस फेल; 2 साल में ठगी 11 गुना बढ़ी,
जिले में दो साल में ऑनलाइन ठगी 11 गुना बढ़ गई। इसी के अनुसार पुलिस को अपने काम की रफ्तार बढ़ाते हुए ठगी के मामलों का खुलासा करना था, लेकिन बांसवाड़ा की साइबर पुलिस ठगों से महज 5 फीसदी ही रिकवरी कर पाई। आंकड़ों को देखे तो 19 जनवरी 2023 को साइबर थाने की शुरुआत हुई थी। इसके बाद यहां पर 7 सिपाही, 2 एसआई, 1 हेड कांस्टेबल और थानाधिकारी तैनात किए। वर्ष 2023 में करीब 2 करोड़ 47 लाख रुपए की साइबर ठगी के मामले सामने आए थे, जबकि वर्ष 2024 में अब तक 27 करोड़ 50 लाख रुपए की साइबर ठगी हो गई।
22 माह में साइबर पुलिस 30 करोड़ में से महज 1.50 करोड़ रुपए की ही रिकवरी कर पाई है। साइबर ठग नए-नए पैंतरे अपना कर लोगों को ठग रहे हैं। लोन, क्रेडिट कार्ड, फर्जी पुलिस अधिकारी बनकर, डाक पार्सल, लॉटरी क्रेडिट कार्ड, फर्जी वेबसाइट सेक्स टॉर्जन, हैकिग, क्यू आरकोड, वॉलेट केवाईसी ऑनलाइन नौकरी, लोन, पोर्न साइट, कस्टमर केयर, ईमेल अकाउंट, वैवाहिक लाइट, पीएम किसान निधि, शेयर मार्केट में पैसा डबल करना, गलत पैसा ट्रांसफर होने का हवाला देना, आई-श्रम कार्ड वर्चुअल नंबरों को विदेशी से ऑनलाइन धोखाधड़ी, शादियों में निमंत्रण पत्र से डेटा हैक, ऑनलाइन अरेस्ट करके प्रमुख रुपए से साइबर ठग लोगों को शिकार बना रहे हैं। कुशलगढ़ की राधा ने बताया कि उनके व्हाट्सएप नंबर पर शादी का निमंत्रण पत्र आया।
उन्होंने जैसे ही उसे खोला तो पूरा फोन हैक हो गया और उन्हें अलग-अलग नंबरों से कॉन आने शुरू हो गए। एक फोन उन्हें दिल्ली के नंबर से आया। वहीं उनके बुआ के बेटे कमलेश को भी फोन किया और खुद को दिल्ली पुलिस से बताकर बताया कि उनकी भतीजी राधा ने लोन लिया था, जिसके 40 हजार रुपए बाकी हैं। यदि वह जमा नहीं कराए तो गिरफ्तार करेंगे।
राधा ने डर के मारे 40 हजार रुपए ट्रांसफर कर दिए।
^इन ठगों तक पहुंचने के लिए तकनीकी एक्सपर्ट होना चाहिए, उसका अभाव होने से इन ठगों के गिरोह तक पहुंचना मुश्किल है। नगर परिषद को कई बार लेटर लिखा , लेकिन भूमि आवंटित नहीं की जा रही है। जिससे थाना पीडब्ल्यूडी की बिल्डिंग में 2 कमरों में ही चल रहा है। संसाधनों का भी अभाव है। 10 के स्टाफ में महज 2 कम्प्यूटर हैं।
-हनुवंत सिंह, थानाधिकारी , साइबर थाना
तलवाड़ा की एक महिला लक्ष्मी को सबसे पहले एक मैसेज आया कि उसके पार्सल की डिलीवरी के लिए लोकेशन 12 घंटे में ही अपडेट करनी होगी। नहीं तो पार्सल रिटर्न हो जाएगा। इसलिए लक्ष्मी ने लिंक पर क्लिक किया। फिर उससे 25 रुपए ही मांगे। इसलिए लक्ष्मी को शक भी नहीं हुआ और लक्ष्मी ने 25 रुपए का ट्रांजेक्शन कर दिया। इसके कुछ देर बाद ही 3 ट्रांजेक्शन में लक्ष्मी के अकाउंट से पूरे 15 हजार रुपए निकल गए। जब मैसेज आया तो उसे ठगी का पता चला।
जिले के बागीदौरा क्षेत्र में एक शिक्षिका कल्पना को साइबर ठग ने शिक्षा विभाग का अधिकारी बन फोन किया और स्कूल को मिलने वाली ग्रांट राशि में फर्जीवाड़े करने पर सस्पेंड करने की धमकी दी। शिक्षिका को कुछ समझ नहीं आया।
ठग ने शिक्षिका से पूरा डेटा भी ले लिया। शिक्षिका ने सस्पेंड होने के डर से साइबर ठग को दो अलग-अलग ट्रांजेक्शन कर 25 हजार रुपए भी ट्रांसफर कर दिए। इसके बाद ठग शिकायत करने वाला का नंबर देने का बहाना कर फोन काट दिया। {हमेशा अपने पासवर्ड्स को बदलते रहे। कभी किसी के भी साथ अपने पासवर्ड शेयर नहीं करें। अनजान नंबर से आए शादी के कार्ड या कोई भी निमंत्रण पत्र नहीं खोले।