Home News Business

रीट-एग्जाम में डमी बैठाकर नौकरी हासिल करने वालों पर FIR:3 फर्जी शिक्षक गिरफ्तार, फरार आरोपी शिक्षक डिटेन, 7 लाख देकर बने सूचना सहायक के खिलाफ केस दर्ज

Banswara
रीट-एग्जाम में डमी बैठाकर नौकरी हासिल करने वालों पर FIR:3 फर्जी शिक्षक गिरफ्तार, फरार आरोपी शिक्षक डिटेन, 7 लाख देकर बने सूचना सहायक के खिलाफ केस दर्ज
@HelloBanswara - Banswara -

बांसवाड़ा में रीट शिक्षक भर्ती 2022 में डमी अभ्यर्थी मामले में पुलिस की सघन जांच जारी है। एसओजी के सहयोग से बांसवाड़ा पुलिस ने अब तक 10 आरोपियों को डिटेन कर लिया है। वहीं डीईओ प्रारंभिक ने चार लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करवाई है।

शुक्रवार देर रात को इस मामले में 3 शिक्षक महेंद्र, महेश और बादर की गिरफ्तारी पुलिस ने बताई। सज्जनगढ़ थानाधिकारी नागेंद्र सिंह ने बताया कि गिरफ्तारी के साथ रात को एक सूचना सहायक के खिलाफ केस भी दर्ज किया गया है। सज्जनगढ़ के पड़वाल ओंकार निवासी मुकेश पुत्र हवसिंह मईडा जो कि सज्जनगढ़ ब्लॉक मुख्य चिकित्सा अधिकारी कार्यालय में सूचना सहायक के पद पर कार्यरत है। उसके खिलाफ सूचना मिली थी कि वो फर्जी अभ्यर्थी बैठाकर सूचना सहायक बना है। इस पर उसे पूछताछ के लिए शाम को थाने बुलाया और उसने यह कबूल भी कर लिया।

पूछताछ में बताया कि उससे एजेंट सेवालाल ने संपर्क किया था। उसने कहा था कि तू सूचना सहायक का फॉर्म भर दे। परीक्षा कोई और देगा साथ ही नौकरी भी पक्की है। इसके लिए 7 लाख देने पड़ेंगे। सेवालाल की बातों में आकर रुपए दिए और आवेदन कर डमी कैंडिडेट ने परीक्षा दी और सिलेक्शन हो गया।

पुलिस ने शुक्रवार को एक अन्य आरोपी शिक्षक अनूप डोडियार को डिटेन किया। पुलिस के अनुसार अनूप अपने रिश्तेदार के छिपा हुआ था। वह सज्जनगढ़ के चुनाखान गांव का रहने वाला है। इसने रीट-प्री एग्जाम बांसवाड़ा शहर के नूतन स्कूल में दिया था। वहीं मुख्य एग्जाम का केंद्र जोधपुर में आया था, जहां प्रवेश पत्र पर पता पाली जिले के बाली गांव का बताया गया।

मामले में इन अभ्यर्थियों को डमी केंडिडेट उपलब्ध कराने वाले तीन दलालों में हांडी गांव निवासी सेवालाल, सज्जनगढ़ निवासी शंकरलाल और गढ़ी पंचायत समिति में कार्यरत ग्राम विकास अधिकारी छगन खडिया है। छगन और शंकरलाल दोनों ही सरकारी कर्मचारी हैं और जिला परिषद में कार्यरत है। हालांकि दोनों के खिलाफ विभाग की ओर से फिलहाल एफआईआर दर्ज नहीं करवाई गई है और न ही कार्रवाई शुरू की गई है। सीईओ वीसी गर्ग ने बताया- अभी गिरफ्तारी नहीं हुई है और एफआईआर नहीं हुई है। एफआईआर आते ही दोनों के खिलाफ निलंबन की कार्यवाही की जाएगी।

पुलिस पूछताछ में दलालों ने बताया कि उनका सीधा संपर्क सांचौर के दलाल से था, जो अभ्यर्थियों को डमी कैंडीडेट उपलब्ध कराता था। पुलिस ने टीम को भेज कर उसे भी डिटेन किया है। अब उस दलाल के माध्यम से एसओजी और पुलिस दोनों ही डमी अभ्यर्थियों की तलाश में जुट गए हैं। सभी अभ्यर्थी कुशलगढ़ विधानसभा क्षेत्र से ही सामने आए हैं, जबकि डमी अभ्यर्थी पाली और जोधपुर जिले के निवासी होना सामने आया है।

इन अभ्यर्थियों को डिटेन किया

  • अभ्यर्थी गीता देवदा पत्नी राकेश निवासी कुशलगढ़ ने डमी कैंडिडेट बैठाकर परीक्षा दी थी। पास होकर गीता ने नौकरी भी हासिल कर ली। उसकी पोस्टिंग राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय पंडवाल ओंकार में है।
  • अभ्यर्थी महेंद्र पुत्र सोमेश्वर बामनिया निवासी सल्लोपाट ने डमी कैंडिडेट बैठाकर परीक्षा पास की। उसे राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय बागतालाब (छोटी सरवन) में नियुक्ति मिली।
  • महेश पटेल निवासी झेर मोटी ने भी डमी कैंडिडेट से परीक्षा पास कर राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय चीथाथला में नियुक्ति प्राप्त की।
  • बादल पुत्र छगन गरासिया निवासी झलकिया सज्जनगढ़ है, जिसकी पोस्टिंग राजकीय उच्च माध्यमिक पड़दा में है।

एक और डमी कैंडिडेट आया सामने

पुलिस और एसओजी जहां अब तक रीट शिक्षक भर्ती में सामने आए डमी कैंडिडेट की जांच पड़ताल कर आरोपियों की तलाश में हैं वहीं अब एक और डमी कैंडिडेट बैठाकर परीक्षा देने का मामला सामने आया है। इसमें भी प्रवेश पत्र और प्रमाण पत्र प्राप्ति पत्र में कैंडिडेट के नाम एक समान हैं लेकिन फोटो दोनों पर अलग अलग हैं। अभ्यर्थी राजेंद्र सज्जनगढ़ के टिंबा महुड़ी गांव का रहने वाला है।

डमी कैंडिडेट राजेंद्र।
डमी कैंडिडेट राजेंद्र।
वास्तविक अभ्यर्थी राजेंद्र।
वास्तविक अभ्यर्थी राजेंद्र।
शेयर करे

More news

Search
×